नमस्कार दोस्तो आपका मेरी website पर स्वागत है। आशा है कि आपको मेरी सारी पोस्ट पसंद आ रही होगी। आज मै फिर आपके लिए एक ऐसा टॉपिक लेकर आया हूँ, जो आज के युग में बहुत जरूरी है। हमे इसकी सारी जानकारी होना जरूरी है। दोस्तो आज का हमारा टॉपिक है Bank। आज हम इस टॉपिक में आपको बताएँगे की Bank kya hai, Bank क्या काम आता है। दोस्तो आज के समय में हम सभी Bank में जाते है, और Bank का use करते है। हमारे दैनिक जीवन में Bank से हमे बहुत ही कम होते है। क्या आप जानते है, की बैंक क्या होता है, और Bank को क्यो बनाया गया, Bank में जो खाते होते है, वो कितने प्रकार के होते है। और एक सबसे बड़ा सवाल जो सभी लोगो के मन में आता है आखिर बैंक क्यो बनाया गया और हमे Bank की जरूरत क्यो पड़ी। दोस्तो आपके इन सभी सवालो के जवाब हमरी आज की पोस्ट में आपको मिल जाएंगे। चलिए दोस्तो ज्यादा देर न करते हुए हम अपने आज के टॉपिक की और बढ़ते है और इसके बारे में जानने की कोशिश करते है।
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बैंक क्या होता है Bank kya hai
बैंक उस वितीय संस्था को कहा जाता है, जो जनता से धनराशि जमा करती है और जनता को सभी प्रकार के ऋण देने काम करता है। ऋण देना और लोगो के उपयोग करने के लिए सामान्य जनता से राशि जमा करना तथा उसी राशि को चेको, ड्राफ्टों तथा आदेशो द्वारा जनता के मांगने पर उस धन राशि का भुगतान जनता को करना बैंकिंग व्यवसाय कहलाता है, और इस व्यवसाय को करने वाली संस्था को बैंक कहते है।
बैंक का इतिहास
पहला आधुनिक बैंक इटली के जेनोवा में सन 1406 मे स्थापित किया गया था। इसका नाम बैंकों दि सैव जिओजियों(सेटे जॉर्ज बैंक) था।
भारत में बैंकिंग का इतिहास 1770 मे शुरू हुआ। जब यूरोपीय पैटर्न में प्रथम बैंक “बैंक आज हिंदुस्तान” स्थापित किया गया। यह बैंक 1830 में आकार बंद हो गया। इसके बाद 1776 में “जनरल बैंक ऑफ इंडिया” की स्थापना की गई, जो ज्यादा समय तक सफल नहीं हो सका उसे लगातार असफलता मिलती रही और 1791 में इसे बंद कर दिया गया। वर्ष 1806 में मद्रास बैंक की स्थापना की गई। 1809 में इस इस बैंक का नाम बादल कर “बैंक ऑफ बंगाल” रखा गया। यही वो बैंक है जिसने भारत में पहला नोट जारी किया था, इसे पहले सिक्के थे। बैंक ऑफ बंगाल, 1840 में स्थापित बैंक आज बॉम्बे और 1843 में स्थापित बैंक आज मद्रास को मिला कर 1862 से प्रेसीडेंसी बैंक कहा जाता है।
1 अप्रैल 1935 मे रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया की स्थापना की गई थी।
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भारतीय बैंकों में खातो के प्रकार
भारत में आधुनिक बैंकीग सेवाओ का इतिहास सो सौ वर्ष पुराना है। देश के विभिन्न आय वर्ग के लोग बैंक और इसके खातो से जुड़े है। दोस्तो आज मै आपको बैंक में खातो के प्रकार के बारे में बताऊंगा। बैंक में खातो की अलग-अलग प्रकृति होती है। कुछ खाते तो ऐसे होते है जिनमे कभी भी कुछ राशी जमा कराने की सुविधा दी गई है। कुछ में निश्चित समय में दी गई होती है, तो चलिए हम आगे चलकर खातो के प्रकार के बारे में जानते है।

बैंक में खातो के प्रकार
- बचत खाता
- चालू खाता
- सावधि जमा खाता
- आवर्ती खाता
- नो-फ्रिल अकाउंट या बुनयादी खाता
- बचत खाता
- चालू जमा खाता
बचत खाता
इस तरह का बैंक खाता सरकारी या निजी बैंक न्यूनतम रुपए जमा करके खुलवाया जाता है। यह न्यूनतम जमा राशि हर बैंक मे अलग-अलग होती है, लेकिन ज़्यादातर सरकारी बैंको में यह राशि 1000 या 2000 रुपए है। अगर हमारा बैंक में बचत खाता है तो हम जब चाहे तब पैसा जमा करवा सकते है, और जब हमे पैसे की जरूरत है तब निकलवा सकते है। जिस व्यक्ति का इस तरह का खाता है, वह खाता धारक बैंक से जब पैसे निकलवाता है तो उसे बैंक में रखी पर्ची भरनी पडटी है, या उस व्यक्ति के पास चेक है या एटीएम है तो भी वह पैसे निकलवा सकता है। अब बैंक ने चेक से पैसे निकालने के लिए अलग-अलग नियम बना दिए है। जिस व्यक्ति है बैंक में बचत खाता है उसे बैंक की तरफ से कुछ प्रतिशत ब्याज भी मिलता है। इस ब्याज की दर अलग-अलग बेक में अलग-अलग होती है। बैंक के नियमो के अनुसार खाता धारक को अपने खाते में एक निश्चित राशि रखनी होती है। जिससे उसका खाता चालू रहता है, और वह बैंक की सारी सुविधाओ का फायदा उठा सकता है।
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चालू जमा खाता
बड़ी बड़ी कंपनीया और व्यवसायी और सरकारी का गैर सरकारी संस्था जैसे स्कूल,कॉलेज और अस्पताल आदि को अपने बैंक खातो से भुगतान करना पड़ता है, या उन्हे जो भी रुपए लेने या जमा कराने होते है उनके लिए उन्हे चालू खाता रखना पड़ता है। चालू खाता में बैंक उस राशि पर उस खाता धारक को ब्याज नहीं देता। बल्कि खाताधारक अपने खाते पर एक एक निश्चित राशि बैंक को देता है हर साल। इसी के साथ साथ बैंक भी उन्हे कुछ सुविधा देता है जैसे उन्हे पैसा निकालने की एक दर से ज्यादा पैसे निकालने की अनुमति देता है। इस अनुमति या सुविधा को ओवरड्राफ्ट सुविधा के नाम से जाना जाता है।
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सावधि जमा खाता
जिन लोगो के पास अधिक धन राशि होती है, और वे शेयर अबजर में पैसा नहीं लगाते तो वे सावधि जमा खाता खुलवाते है, और उस में अपना पैसा जमा करवाते है। सावधि जमा खाता या FD अकाउंट में एक खास अवधि के लिए एक विशेष राशि राखी जाती है। यहाँ एक ही बार बार पैसा निकलता है। जब वह व्यक्ति सावधि जमा खाता में पैसा जमा करवाता है तो उसे एक निश्चित अवधि तय करनी होती है। उस तय की गई निश्चित अवधि से पहले पैसा निकलवाने के लिए आपको बैंक को penalty देनी पडती है। यह penalty हर बैंक की अलग-अलग होती है। सावधि जमा खाता में व्यक्ति की अधिक ब्याज दर मिलती है। वह अधिकतर 10 साल तक होती है।
आवर्ती जमा राशि
आवर्ती जमा राशि या Recurring Deposit Account में वे लोग खाता खुलवाते है, जो एक निश्चित राशि नियमित रूप से जमा करना चाहते है। जिससे उन्हे अधिक ब्याज मिल सकते। आवर्ती जमा राशि में एक खास राशि एक तय अवधि के लिए हर महीने जमा की जाती है, और तय की गई अवधि के लिए हर महीने जमा की जाती है। इसके बाद बैंक में जो समय तय किया होता है उसके बाद यह अवधि समाप्त हो जाने के बाद ब्याज के साथ मूल राशि के साथ आपका सारा पैसा आपको दे दिया जाता है। इस कहते में पैसा जमा करने की अवधि 1 साल से लेकर 10 साल तक होती है। आवर्ती जमा खाता में आप अपना अकेले ही खाता खुलवा सकते है या आप अपने किसी फॅमिली मेम्बर या अपने दोस्त के साथ भी यह खाता खुलवा सकते है।
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बुनयादी बचत
इन खातो को ‘नो फ्रील खता’ भी कहा जाता है। इसे Bank Saving Account भी कहते है। इस प्रकार के खाते रिजर्व बैंक ने 2005 मे समाज के वंचित लोगो जो गरीबी रेखा से नीचे थे और वह बैंकिंग की सुविधा का फायदा नहीं उठा सकते थे। उनके लिए बैंक ने बचत खाता शुरू किया। इन खातो को बिना रुपए जमा करवाए भी खुलवाया जा सकता था, और खाता धारको को न्यूनतम बैलेंस बनाए रखने की बाध्यता से छुट दी गई थी। बुनयादी बचत खाता धारको को एक माह मे अधिकतम चार निकासी की अनुमति दी जाएगी, जिसमे ATM के माध्यम से हुई निकासी भी उसी में शामिल की गई है।
निष्कर्ष
दोस्तो आज की इस पोस्ट में हमने बैंक के बारे में पढ़ा है की Bank kya hai और बैंक का क्या काम है, और बैंक में खातो के क्या प्रकार है। दोस्तो आज की पोस्ट में मैने आपको बैंक के बारे में सारी जानकारी विस्तार से दी है। मेरी तो यही उम्मीद है की आपको में सारी जानकारी विस्तार से दे सकु, ताकि आपको किसी दूसरी साइट पर आपको न जाना पड़े और सारी जानकारी आपको यही से ही मिल जाए और आपका टाइम खराब ना हो। दोस्तो आपको आज की इस पोस्ट में किसी भी प्रकार की कोई भी कमी लगे तो आप मुझे कमेंट करके बता सकते है, जो भी कमी होगी में उसे मै जरूर पूरी करूंगा ताकि आपको कोई भी परेशानी ना हो।
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